अज्ञान का अंधकार मिटाकर, ज्ञान का दीपक जलाता है
उँच-नीच ना देखकर, वो अपना फ़र्ज़ बखूबी निभाता है
सत्य, अनुशासन का पाठ पढ़ाकर, हर बुराई मिटाता है
हर सवाल का जवाब देकर, सारी उलझन सुलझाता है
भटके हुए को राह दिखाकर, वह मार्गदर्शक बन जाता है
स्वयं में आत्मविश्वास जगाकर,लक्ष्य की मंजिल दिखाता है
पाप एवं लालच त्याग कर, धार्मिक संस्कार सिखाता है
गुमनामी से बाहर लाकर, एक नई पहचान दिलाता है
अज्ञानता के भंवर से निकाल कर, नैया पार लगाता है
संचित ज्ञान का धन देकर, सबका जीवन संवारता है
डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन का योगदान सफल हो जाता है
शिष्य बुलंदियों को छूकर, गुरु चरणों में शीश झुकाता है।
Copyright © 2021 Jalpa lalani ‘Zoya’
शुक्रिया।
👍🙏🎉 बहुत सुंदर।
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जी शुक्रिया आपका😊
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Lovely
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जी शुक्रिया आपका😊
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👌👌
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जी शुक्रिया आपका😊
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😊😊
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Wonderful
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जी शुक्रिया आपका😊
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सुंदर रचना 👌👌
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शुक्रिया आपका😊
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Nice👏🏻
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शुक्रिया😊
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Beautifully written!
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धन्यवाद आपका😊
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Waah! Bahut sahi baat kahi 👌
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जी शुक्रिया😊
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